Wednesday, 24 June 2015

अखिलेश को याद आए लैंगिक हमलों के शिकार मासूम

अखिलेश को याद आए लैंगिक हमलों के शिकार मासूम

सीएम अखिलेश यादव ने यूपी में बच्चों पर हो रहे लैंगिक हमलों (चाइल्ड एब्यूज) के मामले में पीड़ित को आर्थिक मदद देना का ऐलान किया है। यह एक सराहनीय कदम है। साल 2011 में ह्यूमन राइट्स वॉच की एक रिपोर्ट के मुताबिक, देश में हर साल तकरीबन 7200 बच्चे यौन उत्पीड़न और शोषण का शिकार होते हैं। लेकिन, पुलिस और अस्पतालों के असंवेदनशील रवैये की वजह से ज्यादातर मामलों का खुलासा तक नहीं होता।
बच्चे समाज की नींव होते हैं। उनपर इस तरह के अत्याचार से वह कुंठा के दौर में चले जाते हैं और उनका भविष्य अधर में फंस जाता है। दिल्ली में दामिनी कांड के बाद आए रिपोर्ट के मुताबिक, देश में हो रहे यौन शोषण में नवजात शिशु भी शामिल हैं। हैरानी की बात तो ये है कि बच्चों के साथ यौन उत्पीड़न सबसे ज्यादा घरों, स्कूलों और बाल आश्रमों में होता है। इसके बाद सरकार की योजनाएं बच्चों को ऐसी वारदातों से बचाने में कारगर साबित नहीं हो पाती।

ऐसे में यूपी सीएम की पहल काबिलेतारीफ है। उनकी कैबिनेट ये भी फैसला लिया है कि लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 के तहत लैंगिक हमले पर एक लाख रुपए, गंभीर लैंगिक हमले पर डेढ़ लाख रुपए, लैंगिक उत्पीड़न पर एक लाख रुपए और अश्लील प्रयोजनों के लिए बालक का उपयोग पर एक लाख रुपए पीड़ित को मिलेंगे।

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